
नई दिल्ली: 375 वस्तुओं पर GST घटाए जाने के बाद भारतीय उपभोक्ताओं ने स्टोर और कार डीलरशिप पर भारी भीड़ लगाई, जिससे नवरात्रि के दौरान बिक्री ने पिछले दशक का सबसे बड़ा स्तर छू लिया, सरकार के अधिकारियों ने उद्योग के आंकड़ों का हवाला देते हुए बताया।
अधिकारियों के अनुसार, इस कदम से कीमतें कम हुईं, जिससे परिवारों ने वाहन अपग्रेड किए, होम अप्लायंसेज खरीदी और लाइफस्टाइल उत्पादों पर अधिक खर्च किया, “त्योहार की खुशियाँ रिकॉर्ड-ब्रेकिंग खपत में बदल गईं।”
केंद्र और राज्यों ने खाद्य पदार्थ, दैनिक उपयोग की वस्तुएं, होम अप्लायंसेज, सीमेंट और ऑटोमोबाइल पर GST दरें घटाई हैं, स्लैब्स को कम किया और तमाम लक्ज़री व पाप उत्पादों पर लगने वाला सेस समाप्त किया, सिवाय तंबाकू के। इसका मकसद टैक्स ढांचे को सरल बनाना और खपत को बढ़ावा देना था, भले ही इससे अस्थायी रूप से कर संग्रह पर असर पड़ा हो।
GST स्लैब्स को सरल बनाकर और आवश्यक व आकर्षक वस्तुओं पर कर बोझ कम करके सरकार ने उपभोक्ताओं में खर्च करने का आत्मविश्वास बढ़ाया। इसके परिणामस्वरूप ब्रांड्स और रिटेलर्स ने 25% से 100% तक की बिक्री वृद्धि दर्ज की।
उद्योग के आंकड़ों के अनुसार, अगस्त में हुए लेन-देन पर आधारित सितंबर की कर संग्रह में 9% से अधिक की वृद्धि हुई, जो चार महीनों में सबसे तेज़ बढ़ोतरी है। उपभोक्ताओं के लिए वस्तुएं अधिक सस्ती होने के साथ-साथ पिछले कुछ दिनों में लंबित मांग भी बिक्री में इजाफे का कारण रही।
मारुति सुजुकी ने इस दौरान 3.5 लाख बुकिंग्स दर्ज कीं, जिसमें लगभग 2.5 लाख पेंडिंग ऑर्डर हैं। नवरात्रि के अंत तक कंपनी 2 लाख वाहन डिलीवर करने की उम्मीद कर रही है, जो पिछले साल के 85,000 की तुलना में 2.3 गुना अधिक है। इसी तरह, एम एंड एम की XUV700 और स्कॉर्पियो N की बिक्री में 60% की वृद्धि हुई, जबकि हुंडई की Creta और Venue की मांग भी मजबूत रही।









