Ukraine Crisis : एक हफ्ते से तहखाने में रह रहे भारतीय डॉक्टर ने अपने पालतू जानवरों को छोड़कर, स्वदेश लौटने से किया मना!

जगुआर कुमार के नाम से मशहूर डॉक्टर पाटिल ने कहा, "मेरी बड़ी बिल्लियां मेरे साथ बेसमेंट में रात गुजार रही हैं। हमारे आसपास बहुत बमबारी भी हो रही है। बिल्लियां डरी हुई हैं। वे कम खा रही हैं। मैं उन्हें छोड़ कर नहीं जा सकता।"

रूस-यूक्रेन के बीच जारी जंग चाहे कितना भी विध्वंशक क्यों ना हो लेकिन भावनाओं पर भारी ना पड़ सकी। इसका ताजा उदहारण यूक्रेन से सामने आई एक खबर में देखने को मिलता है। दरअसल, जिस दिन रूस और यूक्रेन के बीच जंग की शुरुआत हुई उसी दिन से यूक्रेन में रहने वाले भारतीय डॉक्टर गिरिकुमार पाटिल एक तहखाने में छिपे हुए हैं और उनके साथ उनके कुछ पालतू जानवर जैसे एक जगुआर और एक ब्लैक पैंथर भी उनके साथ ही रह रहे हैं।

इसी दौरान डॉ पाटिल को स्वदेश लौटने का मौका मिलता है लेकिन वो अपने पालतू जगुआर, और ब्लैक पैंथर के बिना स्वदेश जाने से इंकार कर देते हैं। जगुआर कुमार के नाम से मशहूर डॉक्टर पाटिल ने कहा, “मेरी बड़ी बिल्लियां मेरे साथ बेसमेंट में रात गुजार रही हैं। हमारे आसपास बहुत बमबारी भी हो रही है। बिल्लियां डरी हुई हैं। वे कम खा रही हैं। मैं उन्हें छोड़ कर नहीं जा सकता।”

डॉक्टर गिरिकुमार पाटिल साल 2007 में मेडिसिन की पढ़ाई करने यूक्रेन पहुंचे थे। 2014 से, वो यूक्रेन में ऑर्थोपेडिक प्रैक्टिशनर के रूप में काम किया और अब एक सरकारी अस्पताल में काम कर रहे है। उन्होंने जानकारी देते हुए कहा, “शुरूआत में, मैं एक पालतू जानवर के रूप में एक बंगाल टाइगर या एक एशियाई शेर चाहता था।

2020 में, यहां के एक स्थानीय चिड़ियाघर का दौरा करते हुए, मैंने अनाथ और बीमार पड़े एक जगुआर को देखा। फिर मैंने संबंधित अधिकारियों की अनुमति ली और उसे एक पशु अस्पताल में इलाज के लिए ले गया और उसे गोद ले लिया। “मैं उसे लड़ाई से पहले जंगल में सैर पर ले जाता था। वे मेरे जीवन के सबसे खुशी के दिन थे।”

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