कातिल अफसर: शराब के नशे में एसडीएम ने मार डाला अपना नायब नाजिर, आरोपी एसडीएम को बचाने में जुटा सरकारी अमला

प्रतापगढ़ के लालगंज एसडीएम ज्ञानेन्द्र विक्रम सिंह ने शराब के नशे में धुत्त होकर तहसील के नायब नाजिर सुनील कुमार की बुरी तरह पिटाई कर दी. अंदरूनी चोटों से घायल नायब नाजिर की इलाज के दौरान अस्पताल में मौत हो गयी. नाजिर की मौत के बाद हुए हंगामे के दौरान एसडीएम को बचाने की पुरजोर कोशिश की गयी लेकिन अंतत: आरोपी एसडीएम समेत 4 लोगो के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज कर लिया गया है.

अस्पताल में भर्ती सुनील कुमार का इलाज करते आरोपी एसडीेम ज्ञानेन्द्र विक्रम सिंह /Pic- Amar Ujala

30 मार्च की रात करीब 9 बजे सुनील कुमार की उसके घर में घुसकर एसडीएम ज्ञानेन्द्र विक्रम सिंह ने पिटाई की थी. अपनी मौत से पहले दिये गये शिकायती पत्र के मुताबिक सुनील कुमार ने बताया कि वह अपने घर के बाहरी हिस्से में बैठा था. तभी एसडीएम ज्ञानेन्द्र विक्रम सिंह हाथ में डंडा लेकर अपने होमगार्ड के साथ घर में घुस आये और उसे बेरहमी से पीटना शुरू कर दिया. पिटाई के दौरान उसे मां-बहिन की गालियां भी दी गयी.

प्रतापगढ़ के डीएम डॉ नितिन बंसल

31 मार्च को की थी शिकायत, नाजिर की मौत का इंतजार करते रहे अफसर-

एसडीएम ज्ञानेन्द्र विक्रम सिंह ने नाजिर को इतना पीटा कि वह बेहोश होकर जमीन पर गिर गया. अधमरे नाजिर को किसी तरह अस्पताल में भर्ती कराया गया. इस मामले में 31 मार्च 2022 को सुनील कुमार ने शिकायती पत्र दिया था और पिटाई के घटनाक्रम को बताते सुनील कुमार का बयान भी मीडियाकर्मियों ने रिकॉर्ड किया था. इस दौरान सुनील की पीठ पर गंभीर चोटों के निशान दिख रहे है.

सुनील के बेटे सुधीर शर्मा ने इस मामले में एसडीएम ज्ञानेन्द्र विक्रम सिंह समेत 4 लोगो के खिलाफ आईपीसी की धारा 302, 308, 323,452, 504 के अन्तर्गत थाना लालगंज में केस दर्ज कराया है. तहरीर में लिखा गया है कि एसडीएम ज्ञानेन्द्र विक्रम सिंह बाउन्ड्री बनाने के लिए मेरे पिता से 6 हजार ईटों की मांग कर रहे थे. जब उन्होने इसको लेकर मनाही की तो एसडीएम ने उनके कत्ल के इरादे से उन्हें घर में घुसकर बुरी तरह पीटा और मरणासन्न स्थिति में छोड़ गये.

सुनील कुमार की मौत के बाद उससे शव को पोस्टमार्टम के लिए ले जाते पुलिसकर्मी

अस्पताल में भर्ती नाजिर पर आरोपी एसडीएम ने बनाया समझौते का दबाब-

सुधीर ने यह भी लिखा है कि इस तरह की नाजायज मांगे पहले भी एसडीएम कर चुके थे जिसके बारे में उच्चाधिकारियों को भी सूचित किया गया था लेकिन आला अफसरों ने कोई कार्रवाई नही की. आरोपी एसडीएम सुनील के अस्पताल में भर्ती होने के दौरान वहां पहुंचे और उन्होने मीडिया को रोकने की कोशिश की. आरोप है कि उन्होने अस्पताल के डाक्टरों पर भी दबाब बनाया.

जेल भेजने के बजाय महज लालगंज से हटाया आरोपी एसडीएम-

प्रतापगढ़ के डीएम डॉ0 नितिन बंसल ने बताया कि आरोपी एसडीएम को मुख्यालय से संबद्ध कर दिया गया है. एसडीएम की गिरफ्तारी का सवाल पूछे जाने पर डीएम उसे टाल गये और कहा कि विधिक कार्रवाई की जायेगी. वारदात की पहली शिकायत को लेकर भी उनसे सवाल किया गया लेकिन उन्होने उसे भी अनसुना कर दिया. डीएम ने आरोपी एसडीएम के अस्पताल जाने के बारे में भी जानकारी न होने की बात कही.

Report- Sudhir Jayaswal

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