
रिपोर्ट : नीरज कुमार जायसवाल, वाराणसी
वाराणसी. मणिपुर हिंसा को लेकर सरकार के खिलाफ जहां एक तरफ विपक्ष की पार्टियां संसद के अंदर हंगामा कर रही है, तो वही राजनैतिक पार्टियों से जुड़ी इकाईयां सड़क पर सरकार को घेरने में जुटी हुई है. इसी क्रम में पीएम मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी के महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ में एनएसयूआई के कार्यकर्ताओं ने मणिपुर घटना को लेकर मशाल जुलूस निकाला. मशाल जुलूस निकलते ही कार्यकर्ताओं को चारो तरफ से पुलिस और विश्वविद्यालय प्रशासन की प्रॉक्टोरियल टीम ने घेर लिया. पुलिस टीम ने एनएसयूआई कार्यकर्ताओं से जबरदस्ती मशाल छीन लिया. तो वहीं मणिपुर की घटना को लेकर कार्यकर्ता मार्च निकालने पर अड़े रहे.
छावनी में तब्दील किया गया विश्वविद्यालय
वाराणसी के महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ में एनएसयूआई कार्यकर्ताओं के द्वारा मणिपुर की घटना को लेकर मशाल जुलूस निकालने के आवाह्न के बाद से ही विश्वविद्यालय को पूरी तरह से छावनी में तब्दील कर दिया गया. निर्धारित समय पर जैसे ही एनएसयूआई के कार्यकर्ताओं ने मशाल जुलूस निकाला वैसे ही बड़ी संख्या में मौजूद पुलिस और विश्वविद्यालय की सुरक्षा टीम ने कार्यकर्ताओं को चारों तरफ से घेर लिया. नारेबाजी के साथ मशाल लेकर मणिपुर की घटना का विरोध करते हुए निकले कार्यकर्ताओं से पुलिस प्रशासन की टीम ने मशाल छीन लिया. वही विश्वविद्यालय की प्रॉक्टर ने सुरक्षा बल के जवानों को निर्देश दिया कि कार्यकर्ताओं को विश्वविद्यालय से बाहर जाने नही दिया जाए.
एनएसयूआई कार्यकर्ताओं ने किया विरोध
पुलिस प्रशासन के द्वारा मशाल जुलूस रोके जाने से आक्रोशित एनएसयूआई के कार्यकर्ताओं और पुलिस के बीच मार्च निकाले जाने को लेकर जमकर नोकझोंक हुई. करीब आधे घंटे की इस नोकझोंक के बाद छात्रों ने विश्वविद्यालय में ही मार्च निकाला. विश्वविद्यालय में महात्मा गांधी की प्रतिमा के पास मार्च निकालते हुए पहुंच एनएसयूआई के कार्यकर्ताओं ने मणिपुर की घटना को लेकर सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की. वही मशाल जुलूस को रोके जाने पर एनएसयूआई के कार्यकर्ताओं ने अपना विरोध व्यक्त किया. एनएसयूआई के जिलाध्यक्ष ऋषभ पांडे ने कहा कि मणिपुर की घटना पर सरकार चुप्पी साधे हुए हैं और विरोध को रोकने के लिए तानाशाही पूर्ण रवैया अपना रही है.









