
उत्तर प्रदेश सरकार में कैबिनेट मंत्री लक्ष्मी नारायण चौधरी ने सोमवार को विवादित बयान दिया. विधानमंडल के मानसून सत्र में अखिलेश यादव द्वारा आवारा पशुओं के मुद्दे ना उठाने से जुड़े एक सवाल पर लक्ष्मी नारायण चैधरी ने कहा, “अखिलेश यादव अपनी असलियत से भटक रहे हैं. ‘अहीरों’ का काम ही जानवर पालना था. वो अपने पैतृक धंधे को ही भूल रहे हैं.”
उन्होंने अपनी बात को आगे बढ़ाते हुए कहा, “गाय और भैंस पालना तो अहीरों का मुख्य काम था. चूंकि वो मंत्री के घर में पैदा हुए. मुख्यमंत्री के घर में बड़े हुए. आसमान से टपके हैं. इसलिए उन्हें बार-बार वही बात याद आती है. उनको तो ये सोचना चाहिए कि उनके पूर्वजों का ये धंधा है. जिस नन्द बाबा के वो वंशज बनते हैं, उनकी तो 9-9 गाय थीं.”
दरअसल, सोमवार को यूपी विधानमंडल के मानसून सत्र की शुरुआत हुई. सदन कुछ समय तक चला लेकिन बाद में विपक्ष के हंगामें के बाद कल तक के लिए विधानसभा स्थगित कर दी गई. अखिलेश यादव यूपी की विधानसभा में मणिपुर पर निंदा प्रस्ताव लाने पर अड़े हुए थे जिसे स्पीकर महाना ने नकार दिया. विपक्षी दलों के हंगामें के बाद सदन की कार्रवाई कल तक के लिए स्थगित कर दी गई.
विधानसभा में आज चले घटनाक्रम के बारे में भारत समाचार संवाददाता ने उत्तर प्रदेश सरकार के कैबिनेट मंत्री लक्ष्मी नारायण चौधरी से बात की. पहले तो मंत्री जी ने विपक्ष को मुद्दाविहीन बताया. लेकिन बाद में उन्होंने अखिलेश यादव को लेकर बेहद आपत्तिजनक, बेतुका और विवादित बयान दे डाला. बहरहाल, लक्ष्मी नारायण चौधरी के इस बयान के बाद सियासी बवाल मचना तय लग रहा है.









