
लखनऊ- योगी सरकार द्वारा पेश किए गए बजट पर विपक्षी दल के नेताओं की प्रतिक्रिया आना शुरु हो गईं हैं. योगी सरकार के बजट को सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने दिशा विहीन करार दिया है. सपा प्रमुख ने कहा कि बजट से किसान और नौजवान निराश हुए हैं.
दिशाहीन बजट जिसमें न वर्तमान की समस्याओं का सुलझाव है न भविष्य का रास्ता, न रोज़गार है न उसका विचार… ऐसे कैसे बनेगी 1 ट्रिलियन की इकॉनमी? pic.twitter.com/ywk2z8op7A
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) February 22, 2023
अखिलेश यादव ने बजट पर हमला बोलते हुए कहा कि सरकार के बजट ने महिलाओं, युवाओं व किसानों को पूरी तरह से निराश किया है. सपा प्रमुख ने कहा सरकार बताए प्रदेश की ग्रोथ रेट क्या होनी चाहिए?’ उन्होंने कहा केंद्र की दिल्ली सरकार ने किसानों पर ध्यान नहीं दिया अब राज्य सरकार भी किसानों की समस्याओं पर ध्यान नहीं दे रही है. किसानों को उनकी फसल की सही कीमत नहीं मिल पा रही है. इस दौरान अखिलेश यादव ने मथुरा से भाजपा सांसद हेमा मालिनी पर भी हमला बोला.
सरकार की अनदेखी के चलते काऊ प्लांट हुआ बंद-अखिलेश
सपा प्रमुख ने कहा कि सरकार की अनदेखी के चलते काऊ प्लांट बंद हो गया है. बीजेपी सरकार किसान विरोधी है.अखिलेश यादव ने बीजेपी पर हमलावर होते हुए कहा कि प्रदेश में रोजगार की कोई व्यवस्था नहीं है. सरकार ने MSME सेक्टर को नष्ट कर दिया है. अखिलेश ने कहा कि मुख्यमंत्री कहते हैं यूपी में ‘व्यापार करने में आसानी है, लेकिन वास्तव में यहां अपराध करने में आसानी है.
ग्लोबल समिट पर भी अखिलेश यादव ने बोला हमला
ग्लोबल समिट पर पर अखिलेश यादव ने तंज कसते हुए कहा कि इस सरकार को सिर्फ़ मेला लगाना आता है. उन्होंने ने कहा कि बजट में कुछ भी नहीं दिखता ना कुछ आने वाला है. प्रदेश में बिजली महंगी हो रही है. सपा प्रमुख ने कहा कि बीजेपी ने एमएसएमई को बर्बाद कर दिया है. लखनऊ में बिना इलाज के लोग मर रहे हैं. अखिलेश ने कहा कि प्रदेश में सपा सरकार के समय में बने सभी मेडिकल कॉलेज संचालित हो रहे हैं.
इकाना स्टेडियम भी सपा की सरकार ने बनाया- अखिलेश
सपा प्रमुख ने कहा कि इकाना स्टेडियम सपा सरकार के समय का बना हुआ है. अखिलेश ने कहा कि मेट्रो सपा ने दी, बीजेपी उसे आगे नहीं बढ़ा पाई. सपा प्रमुख ने बीजेपी पर हमला बोलते हुए कहा कि पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे घाटे में है. गंगा एक्सप्रेस-वे बनेगा या नहीं ये भी नहीं पता. सपा प्रमुख ने कहा कि ये सरकार ना तो छात्रवृत्ति दे रही है और ना ही जातिगत जनगणना के लिए बजट का इंतजाम कर पा रही है.