तनाव से रहे हैं जूझ, दो मिनट में ऐसे करें छूमंतर !

आजकल की भागदौड़ भरी जिंदगी में वर्कप्रेशर के चलते तो कभी घर की आंतरिक समस्याओं के चलते हर व्यक्ति कहीं न कहीं प्रभावित है।

आजकल की भागदौड़ भरी जिंदगी में वर्कप्रेशर के चलते तो कभी घर की आंतरिक समस्याओं के चलते हर व्यक्ति कहीं न कहीं प्रभावित है। लोग अवसाद की समस्या से पीड़ित हैं। लगातार बेचैनी काम का दबाव महसूस होने से मन उदास और परेशान रहता है, जिसका असर सीधे तौर पर वर्क प्रोडक्टिविटी और उनके दैनिक जीवन पर पड़ने लगता है। हालांकि, लोग तनाव से बचने के लिए कई तरह की तकनीकों और कोर्स का सहारा लेते हैं, लेकिन या तो कुछ इतने कारगर नहीं होते या फिर हम रूटीन से उनक तकनीकों को फॉलो नहीं कर पाते। फिर भी किसी न किसी कारण वे तनावग्रस्त महसूस करते हैं। अगर आप भी लंबे समय से ध्यान और उत्पादकता में कमी महसूस कर रही हैं, तो ब्रीदिंग एक्सरसाइज एक बेहतरीन समाधान हो सकता है। नियमित रूप से ब्रीदिंग एक्सरसाइज का अभ्यास शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य को बेहतर बनाने में मदद करता है। अगर आप भी चिंता से जूझ रही हैं, तो इन आसान ब्रीदिंग एक्सरसाइज की मदद से इस समस्या को हल किया जा सकता है।

ब्रीदिंग एक्सरसाइज़ से मिलेगा फायदा

ब्रीदिंग एक्सरसाइज़ उस प्रक्रिया को कहते हैं, जिसमें नाक से गहरी सांस ली जाती है, उस पर ध्यान केंद्रित किया जाता है और फिर धीरे-धीरे बाहर छोड़ दी जाती है। यह दिमाग को शांत करने, तनाव को कम करने और ध्यान केंद्रित करने का एक सरल और प्रभावी तरीका है।

फ्रंटियर्स फिजियोलॉजी पत्रिका की रिपोर्ट के अनुसार, ब्रीदिंग एक्सरसाइज़ के जरिए अपनी सांस पर ध्यान केंद्रित करके वर्तमान क्षण में खुद को संतुलित किया जा सकता है, जिससे एंग्जाइटी भी कम होती है। इसे करने के लिए एक शांत स्थान और विशेष समय निर्धारित करना चाहिए।

इस बारे में मनोचिकित्सक डॉ. ज्योति कपूर कहती हैं कि एंग्जाइटी से राहत पाने के लिए माइंडफुल ब्रीदिंग एक प्रभावी उपाय है। सांस पर ध्यान केंद्रित करने से शरीर की विश्राम प्रतिक्रिया सक्रिय होती है, जो तनाव के कारण होने वाली प्रतिक्रियाओं को नियंत्रित करती है। गहरी सांस लेने से शरीर को आराम मिलता है, जिससे रक्तचाप और हृदय गति कम होती है।

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