
लखनऊ में मंगलवार को बसपा सुप्रिमो मायावती के आह्वान पर भीमराव अंबेडकर की प्रतिमा के पास कार्यकर्ताओं ने जोरदार प्रदर्शन किया। संसद में गृहमंत्री अमित शाह द्वारा बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर पर की गई टिप्पणी के विरोध में बसपा ने लखनऊ के हजरतगंज यह में प्रदर्शन किया। बसपाइओं ने गृहमंत्री शाह से बयान वापस लेने के साथ ही मंत्री पद से इस्तीफे की मांग की है। भारी पुलिस बल की तैनाती के साथ प्रदर्शनकारी अपनी मांगो को लेकर अड़े रहे और अमित शाह के खिलाफ नारेबाजी करते हुए पुलिस प्रशासन को ज्ञापन सौंपा।
दरअसल, गृहमंत्री अमित शाह ने राज्यसभा में विपक्ष पर कटाक्ष करते हुए कहा कि आजकल एक फैशन हो गया है- आंबेडकर, आंबेडकर, आंबेडकर, आंबेडकर, आंबेडकर, आंबेडकर, आंबेडकर । इतना नाम अगर भगवान का लेते तो सात जन्मों तक स्वर्ग मिल जाता। इसका विरोध करते हुए विपक्ष ने हंगामा कर दिया । बता दें, इसी मुद्दे को लेकर सोमवार को सोशल मीडिया एक्स पर लिखते हुए मायावती ने कहा कि भारतीय संविधान के मूल निर्माता परमपूज्य बाबा साहेब डा. भीमराव अम्बेडकर का अनादर/अपमान व उनके करोड़ों अनुयाइयों के प्रति हीन भावना का दुखद परिणाम है परभणी जैसी दुर्भाग्यपूर्ण घटनाएं हुईं। साबित है कि कांग्रेस व भाजपा आदि कोई इनका सच्चा हितैषी नहीं सबकी नीयत और नीति में खोट।
आगे उन्होंने कहा, “केन्द्रीय गृहमंत्री से संसद में बाबा साहेब विरोधी टिप्पणी को वापस लेने की माँग को लेकर बीएसपी द्वारा कल देश भर में जिला मुख्यालयों पर शान्तिपूर्ण धरना-प्रदर्शन को सफल बनाने की सर्वसमाज से अपील। बाबा साहेब के नाम पर छलावापूर्ण राजनीति करने वालों से सावधानी जरूरी।”
वहीं, बसपा के राष्ट्रीय संयोजक आकाश आनंद ने कहा,”करोड़ों शोषितों, वंचितों और गरीबों के लिए बाबा साहेब डा. भीमराव अम्बेडकर भगवान ही हैं। लेकिन वोटों के लिए उनके नाम का इस्तेमाल करना आज कल एक फैशन हो गया है। पहले देश के गृह मंत्री श्री अमित शाह जी ने संसद में उनका अपमान किया, फिर श्री राहुल गांधी जी व प्रियंका गांधी जी ने हमारी नीली क्रांति को फैशन शो बनाया और उसके बाद श्री अरविंद केजरीवाल जी ने बाबा साहेब की छवि के साथ छेड़छाड़ की। देश के दलित, शोषित, वंचित उपेक्षितों के आत्म-सम्मान के लिए बीएसपी का मिशन जारी रहेगा। गृहमंत्री श्री अमित शाह जी को पश्चाताप करना ही पड़ेगा।”









