सीएम योगी की सिफारिश पर व्यापारी मनीष गुप्ता के कथित हत्या मामले की जांच करेगी CBI

प्रॉपर्टी डीलर की कथित हत्या के मामले में योगी आदित्यनाथ सरकार पर निष्क्रियता का आरोप लगाने वाले कई लोगों के साथ व्यवसायी की मौत एक बड़े राजनीतिक विवाद में बदल गई थी। प्रदेश सरकार ने इससे पहले 2 अक्टूबर को इस मामले की सीबीआई जांच की सिफारिश की थी।

कानपुर के व्यवसायी मनीष गुप्ता के मौत के मामले कि जांच अब केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) करेगी। व्यापारी के कथित रूप से गोरखपुर के एक होटल में पुलिस छापेमारी के दौरान मौत हो गई थी। अब मंगलवार को इस मामले में जांच प्रक्रिया को CBI ने उत्तर प्रदेश पुलिस से अपने हाथ में ले लिया है।

36 वर्षीय प्रॉपर्टी डीलर मनीष गुप्ता की गोरखपुर के एक होटल में पुलिस द्वारा कथित तौर पर हमला करने के बाद मौत हो गई थी। जिस सिलसिले में घटनाक्रम में शामिल सभी छह पुलिसकर्मियों को यूपी पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया था।

प्रॉपर्टी डीलर की कथित हत्या के मामले में योगी आदित्यनाथ सरकार पर निष्क्रियता का आरोप लगाने वाले कई लोगों के साथ व्यवसायी की मौत एक बड़े राजनीतिक विवाद में बदल गई थी। प्रदेश सरकार ने इससे पहले 2 अक्टूबर को इस मामले की सीबीआई जांच की सिफारिश की थी। अतिरिक्त मुख्य सचिव (गृह) अवनीश अवस्थी ने मीडिया के समक्ष अपने बयान में इस बात की जानकारी दी थी।

अतिरिक्त मुख्य सचिव (गृह) अवनीश अवस्थी ने अपने आगे के बयान में कहा था, “जब तक सीबीआई जांच अपने हाथ में नहीं लेती, तब तक इस मामले में गठित विशेष जांच दल (SIT) मुकदमे को गोरखपुर से कानपुर स्थानांतरित कर पुरे प्रकरण की जांच करेगी।”

प्रदेश की योगी सरकार ने व्यवसायी की पत्नी मीनाक्षी गुप्ता को इस मामले में मुआवजे के तौर पर कानपुर विकास प्राधिकरण में OSD के पद पर नियुक्त करने का भी आदेश दिया था और मुख्यमंत्री ने शोक संतप्त परिवार को आर्थिक मदद बढ़ाकर 40 लाख रुपये करने का निर्देश दिया था।

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