
‘वैक्सीनेशन डिप्लोमेसी’ को बताया अंतर्राष्ट्रीय नेतृत्व का उदाहरण
कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने कोविड महामारी के दौरान भारत की वैक्सीनेशन डिप्लोमेसी की सराहना करते हुए इसे “अंतर्राष्ट्रीय नेतृत्व का एक शक्तिशाली उदाहरण” करार दिया। उन्होंने कहा, “भारत ने 100 से अधिक देशों को मेड-इन-इंडिया वैक्सीन भेजकर यह साबित किया कि जब जरूरत पड़ी, भारत ने मदद का हाथ बढ़ाया।”
भारत ने सॉफ्ट पावर के रूप में किया काम
थरूर ने अपने लेख में भारत की सॉफ्ट पावर की ताकत को रेखांकित किया और बताया कि यह सिर्फ वैक्सीन प्रदान करने तक सीमित नहीं था, बल्कि भारत ने नेपाल, मालदीव और कुवैत में भारतीय सैन्य डॉक्टरों को भेजा और दक्षिण एशियाई देशों के स्वास्थ्य कर्मियों के लिए ऑनलाइन प्रशिक्षण का आयोजन किया।
वैकसीन मित्र अभियान की सराहना
थरूर ने भारत सरकार के “वैकसीन मित्र” अभियान की भी सराहना की, जो 2021 में शुरू हुआ था और इसके तहत 100 से अधिक देशों को कोविड-19 वैक्सीन्स भेजी गई।
लॉकडाउन को बताया “कठोर”
हालांकि, थरूर ने लॉकडाउन को “कठोर” बताते हुए कहा, “कोविड-19 द्वारा प्रेरित 24 मार्च 2020 के लॉकडाउन को कोई भी भारत में नहीं याद कर रहा है, यह एक दुःस्वप्न जैसा था, जिसमें कष्ट, त्रासदी और नुकसान था।”
कांग्रेस में थरूर का राजनीतिक भविष्य
थरूर के हालिया बयान और सोशल मीडिया पोस्ट्स ने कांग्रेस में उनके राजनीतिक भविष्य को लेकर अटकलों को जन्म दिया है। उन्होंने हाल ही में एक पॉडकास्ट में कांग्रेस को केरल में तीसरे कार्यकाल के लिए विपक्ष में रहने का जोखिम बताया था और राज्य में नेतृत्व के खालीपन का उल्लेख किया था।