
आर्थिक संकेत सकारात्मक, लेकिन उद्योग को ज़्यादा सक्रिय होने की ज़रूरत: CEA नागेश्वरन
नई दिल्ली: भारत की अर्थव्यवस्था FY2025-26 में 6.3% से 6.8% की दर से बढ़ने की उम्मीद है, और यह वृद्धि लंबे समय तक बनी रह सकती है, ऐसा कहना है मुख्य आर्थिक सलाहकार (CEA) वी. अनंथा नागेश्वरन का। CII एनुअल बिजनेस समिट 2025 में गुरुवार को उन्होंने कहा कि वैश्विक अनिश्चितताओं के बावजूद भारत घरेलू मांग आधारित अर्थव्यवस्था है और इसे मजबूती से आगे बढ़ाया जा सकता है।
भारत को आगे बढ़ाने वाले पॉज़िटिव फैक्टर्स:
- अमेरिका द्वारा लगाए गए टैरिफ से नए अवसर
- मॉनसून का संतुलित वितरण
- मिडल क्लास को टैक्स रिलीफ
- अनुकूल मौद्रिक नीति (Monetary Policy)
IMF का अनुमान: FY31 तक भारत की GDP $6.8 ट्रिलियन
- IMF का मानना है कि भारतीय रुपया हर साल सिर्फ 0.5%-0.8% तक ही अवमूल्यित होगा
- CEA ने कहा, कंपनियों को मजबूत रुपये के लिए तैयार रहना होगा — प्रतिस्पर्धात्मकता और उत्पादकता बढ़ाकर ही आगे बढ़ा जा सकता है
निजी क्षेत्र से अपेक्षा:
- अब सरकार के बाद प्राइवेट सेक्टर को निवेश, रोजगार, और मांग बढ़ाने की भूमिका निभानी होगी
- 8 मिलियन नए रोजगार (खेती-किसानी को छोड़कर) हर साल चाहिए
- इसके लिए लेबर-इंटेंसिव मैन्युफैक्चरिंग पर फोकस और नीति व कॉर्पोरेट स्तर पर डिरेगुलेशन की ज़रूरत
चुनौती: लाभ और पूंजी निर्माण (Capital Formation) में असंतुलन
- प्राइवेट कंपनियों का मुनाफा FY14 में ₹7.2 ट्रिलियन से FY24 में ₹28.7 ट्रिलियन
- लेकिन पूंजी निर्माण सिर्फ 3x बढ़ा
- कंपनियों को मुनाफे से ज्यादा निवेश और कर्मचारियों को बेहतर मुआवज़ा देने की ज़रूरत है
- “Profitability और compensation के बीच की खाई भारत झेल नहीं सकता” — CEA
‘AI की दौड़ अभी शुरू हुई है’ — अमिताभ कांत
AI और DPI में भारत का नेतृत्व
- भारत के G20 शेरपा अमिताभ कांत ने कहा, “पहले आने वाले विजेता नहीं होते”
- भारत को अपने AI फाउंडेशन मॉडल्स तैयार करने चाहिए — ओपन सोर्स, ओपन API मॉडल्स को अपनाकर
- भारत दुनिया की समस्याओं के समाधान में AI लीडर बन सकता है
R&D और राज्यों से अपेक्षा:
- क्वालिटी कंट्रोल ऑर्डर (QCOs) का विवेकपूर्ण प्रयोग करें
- लैंड-लीज नीति, डिस्कॉम प्राइवेटाइजेशन, और राज्य स्तरीय सुधारों पर ज़ोर
- उद्योग को R&D में निवेश बढ़ाना चाहिए
जलवायु, व्यापार और विकास: अन्य प्रमुख बातें
क्लाइमेट एक्शन पर भूपेंद्र यादव:
- भारत की जलवायु नीति के 3 स्तंभ:
- सर्कुलर इकोनॉमी
- प्राकृतिक इकोसिस्टम की रक्षा
- क्लाइमेट रेज़िलिएंस और एडॉप्टेशन
अंतरराष्ट्रीय व्यापार पर पियूष गोयल:
- भारत फ्रांस, इटली और स्विट्जरलैंड में हाई-लेवल व्यापारिक प्रतिनिधिमंडल भेजेगा
- भारत में $100 बिलियन से अधिक का FDI कमिटमेंट आया है
निति आयोग के उपाध्यक्ष सुमन बेरी:
- ‘विकसित भारत’ के लिए लेबर प्रोडक्टिविटी में सुधार ज़रूरी
- जनसंख्या लाभ (Demographic Dividend) का सकारात्मक उपयोग ही भारत की प्रगति की कुंजी
- FY26 में स्थिर लेकिन चुनौतीपूर्ण वृद्धि का अनुमान
- भारत को समानांतर रूप से पूंजी, रोजगार, टेक्नोलॉजी और स्थिरता — चारों पर ध्यान देना होगा
- उद्योग और सरकार को एक साझा विज़न के तहत मिलकर काम करना होगा









