
लखनऊ- कल 15 अगस्त यानी की स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर लालकिले के प्राचीर से पीएम मोदी ने अपने भाषण में कई अहम मुद्दों पर बात की थी.पीएम मोदी ने UCC को लेकर बहुत बड़ा बयान दिया था.
अब बीएसपी सुप्रीमो मायावती ने पीएम मोदी के कल के भाषण की आलोचना की है.मायावती ने कहा कि आरक्षण के वर्गीकरण के मुद्दे पर पीएम ने कुछ नहीं बोला. मायावती ने कहा की अपने सांसदों की इस मुद्दे पर पीएम का आश्वासन खुद उन्हे याद नहीं रहा.
मायावती ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट एक्स पर लिखा कि इस बारे में भाजपा सांसदों को दिया आश्वासन भी पीएम को याद नहीं रहा, जबकि देश के SC-ST वर्गों को ऐसा ही जातिवादी रवैया अपनाने की कांग्रेस से भी बड़ी शिकायत, क्योंकि इस पार्टी ने भी इनके उपवर्गीकरण व उन्हें बांटने पर भाजपा की तरह ही अभी तक चुप्पी साध रखी है, जो अनुचित.
दरअसल, पीएम मोदी ने अपने संबोधन में कहा था कि धर्मनिरपेक्ष नागरिक संहिता लागू करना और भेदभावपूर्ण सांप्रदायिक नागरिक संहिता को खत्म करना समय की मांग है.उन्होंने कहा “हमारे देश में सुप्रीम कोर्ट ने बार-बार यूसीसी को लेकर चर्चा की है, अनेक बार आदेश दिए हैं. क्योंकि देश का एक बहुत बड़ा वर्ग मानता है कि जिस सिविल कोड को लेकर हम जी रहे हैं.वह सिविल कोड सचमुच में एक सांप्रदायिक और भेदभाव करने वाला सिविल कोड है.
अब देश की मांग है कि देश में धर्मनिरपेक्ष सिविल कोड हो. अमित शाह पहले ही गारंटी दे चुके हैं कि इस कार्यकाल में एनडीए सरकार समान नागरिक संहिता लेकर आएगी.









