
बिहार विधानसभा चुनाव में राष्ट्रीय जनता दल (RJD) की करारी हार के बाद यादव परिवार में एक नया विवाद सामने आया है। लालू यादव की बेटी, रोहिणी आचार्य ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर परिवार से नाता तोड़ने और राजनीति छोड़ने का ऐलान किया। आचार्य ने कहा कि वह खुद पर पूरी जिम्मेदारी ले रही हैं और यह फैसला संजय यादव और रमीज की सलाह पर लिया है।
उन्होंने अपने पोस्ट में लिखा, “मैं राजनीति छोड़ रही हूं और परिवार से नाता तोड़ रही हूं। संजय यादव और रमीज ने मुझसे यही करने को कहा था।” बाद में उन्होंने इस पोस्ट को एडिट कर संजय यादव और रमीज का नाम जोड़ा।
बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री और राष्ट्रीय जनता दल (RJD) प्रमुख लालू यादव की बेटी रोहिणी आचार्य इस मुद्दे पर पहले भी अपने विचार व्यक्त कर चुकी हैं। सारण से लोकसभा चुनाव में उम्मीदवार रह चुकीं रोहिणी आचार्य ने 18 सितंबर को फेसबुक पर एक पोस्ट शेयर किया, “जिसमें संजय यादव पर तीखा कॉमेंट किया गया था। इस पोस्ट में एक तस्वीर भी साझा की गई थी, जो तेजस्वी यादव की बिहार अधिकार यात्रा के दौरान की थी। तस्वीर में रथ (बस) में वह सीट दिखाई दे रही थी, जो तेजस्वी यादव के लिए आरक्षित थी, लेकिन संजय यादव उस सीट पर बैठे हुए थे।”

इससे पहले रोहिणी आचार्य ने रोहिणी ने इसके बाद परिवार और पार्टी के सभी सदस्यों को सोशल मीडिया पर अनफॉलो कर दिया और विरोधियों को खुली चुनौती दी, यह कहते हुए कि अगर कोई यह साबित कर दे कि उन्होंने कभी अपने लिए या दूसरों के लिए कुछ मांगा है, तो वह राजनीतिक जीवन से खुद को अलग कर लेंगी।
इस बीच, तेजस्वी यादव के बड़े भाई तेजप्रताप यादव ने भी चुनाव नतीजों पर तीखी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने महागठबंधन को आरोपित करते हुए कहा कि ‘जयचंदों’ ने RJD को भीतर से खोखला और बर्बाद कर दिया है। तेजप्रताप ने इसे ‘जयचंदों की हार’ बताते हुए तेजस्वी यादव को भी आड़े हाथों लिया।
संजय यादव, जो कि राज्यसभा सांसद हैं, और रमीज, जो तेजस्वी के करीबी हैं, को लेकर आरोप हैं कि उन्होंने पार्टी की नीतियों में दखल दिया और परिवार में असंतोष फैलाया। फिलहाल, यह स्थिति यादव परिवार के लिए एक नया विवाद बन गई है, जिससे पार्टी के अंदर की राजनीति और भी जटिल होती नजर आ रही है।









