
श्रीलंका इन दिनों आर्थिक संकट के बुरे दौर से गुजर रहा है। यहा कंगाली से कोहराम मचा है। श्रीकंला में राष्ट्रपति गोटाबाया राजपक्षे के आपातकाल की घोषणा के बाद वहां हालात लगातार बिगड़ते ही जा रहे है। और वहां पूरी कैबिनेट ने एक साथ इस्तीफा दे दिया। इस बात की जानकारी देश के शिक्षा मंत्री दिनेश गुणवर्धने ने दी। बता दे प्रधानमंत्री महिंदा राजपक्षे और राष्ट्रपति गोटाबाया राजपक्षे को छोड़कर कैबिनेट के सभी 26 मंत्रियों ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है।
वही इससे पहले श्रीकंला में राष्ट्रपति गोटाबाया राजपक्षे ने आपातकाल की घोषणा के बाद पूरे श्रीकंला में 36 घंटे का कर्फ्यू भी लगा दिया गया था। और यह कर्फ्यू शनिवार शाम को शुरू हो गया है। इसके साथ ही वहा पर फेसबुक, व्हाट्सएप और ट्विटर जैसे सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म को भी सरकार ने बंद कर दिया है। लोग महंगाई से त्रस्त हो रहे हैं। एक तरफ तो जरूरी चीजों की भारी किल्लत है और जहां थोड़ा बहुत सामान मिल भी रहा है, वहां कीमते आसमान छू रही हैं।
एक तरफ पूरी दुनिया रूस और युक्रेन के युद्ध की वजह से तीसरे विश्व युद्ध की दहलीज पर खड़ी है तो वहीं दूसरी तरफ हमारा पड़ोसी देश श्रीलंका भुखमरी का सामना कर रहा है। श्रीलंका में हालात इतने ज्यादा खराब हो गए हैं की लोग दूध, पानी और खाने के लिए तरस रहे हैं। वही, श्रीलंका की जनता कंगाली के लिए राजपक्षे परिवार को दोषी मान रही है। लोगों का कहना है कि राजपक्षे परिवार ने अपने फायदे के कारण देश को इस हालत में पहुंचा दिया है। हालात ये हैं कि अब श्रीलंका के लोग भारत से मदद की गुहार लगा रहे हैं।