
वाराणसी। उत्तर प्रदेश के वाराणसी जनपद में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का ड्रीम प्रोजेक्ट के रूप में देखे जाने वाले नाइट मार्केट पर आधी रात बुलडोजर गरजा। शुक्रवार को नगर निगम की टीम ने पुलिस प्रशासन की मौजूदगी में नाईट मार्केट की करीब 80 से अधिक दुकानों को ध्वस्त करवाया। दुकानों के ध्वस्त होने से जहां एक तरफ बड़ी संख्या में ठेका पटरी दुकानदारों का रोजगार का सपना चूर करने का आरोप नगर निगम पर लगा, तो वही महिला दुकानदार अपनी दुकानों पर बुलडोजर चलता देख फफक कर रो पड़ी। सोशल मीडिया पर नाईट मार्केट की दुकानों पर चल रहे बुलडोजर की तस्वीरें वायरल हो रही है, तो वही मीडिया में यह मामला शनिवार को सुर्खियों में है।

निजी कंपनी ने तोड़ा दुकानदारों का सपना, मानक न पूरा होने पर हुई ध्वस्तीकरण की कार्रवाई…
वाराणसी के कैंट रेलवे स्टेशन पर स्मार्ट सिटी के तहत करोड़ों रुपए की लागत से फ्लाईओवर के नीचे बने नाईट बाजार को निजी कंपनी श्रेया इंटरप्राइजेज को संचालित करने के लिए दिया गया। नगर आयुक्त अक्षत वर्मा के अनुसार कंपनी के द्वारा लगातार मानकों की अनदेखी की गई। ठेला पटरी व्यवसायियों के जगह कई बड़े दुकानदारों को दुकान अलॉट की गई, जबकि स्वच्छता और सुरक्षा के मानक पूरी तरफ फेल रहे। लगातार नाइट मार्केट में गंदगी और अनैतिक कार्य होने की शिकायत स्थानीय लोगो के साथ रेलवे प्रशासन और पास में मौजूद रोडवेज के अधिकारियों के द्वारा किया जा रहा था। ऐसे में जब शिकायत की गहनता से जांच की गई, तो शिकायत सही पाया गया। निजी कंपनी को कई बार इसके लिए नोटिस दिया गया और उनसे अनुबंध समाप्त कर दिया गया। वही नगर निगम ने कंपनी के ऊपर मुकदमा भी दर्ज करवाया गया था। इस बीच दुकानों को खाली करवाए जाने के लिए दुकानदारों को पहले ही बता दिया गया और बहुत सारे दुकानदारों ने दुकान को खुद से खाली कर दिया था। जिन दुकानदारों ने दुकान को खाली नहीं किया उनको पहले 48 घंटे का अल्टीमेटम दिया गया और उसके बाद ध्वस्तीकरण की कार्रवाई की गई।

दुकानदारों ने बीजेपी विधायक, मंत्री और जनप्रतिनिधियों से लगाई गुहार, नहीं हुई सुनवाई…
नाईट मार्केट ध्वस्तीकरण की जद में आए दुकानदार बुलडोजर की कार्रवाई से बेहद ही खफा है। दुकानदारों के अनुसार दुकानों को व्यवस्थित तरीके से करने और स्वच्छता को बनाए रखने की बात पर सहमति बनी थी। दुकानों ध्वस्त होने से बचाने के लिए बीजेपी के जनप्रतिनिधि, विधायक और मंत्रियों से गुहार लगाई गई। सभी ने दुकानों को ध्वस्त होने से रोकने का आश्वासन दिया, लेकिन नगर निगम ने सभी के आश्वासन को दर किनार करते हुए दुकानों पर बुलडोजर की कार्रवाई की। नाईट बाजार के दुकानदारों का कहना है, कि उन्होंने बैंक से लोन लेकर अपनी दुकान को खोला था और महीने की किस्त अपनी कमाई से जमा कर रहे थे। अब दुकानों को ध्वस्त कर दिया गया कमाई हो नहीं पाएगी, अब बैंक का किस्त कैसे जमा होगा ? स्थानीय नगर निगम और पुलिस प्रशासन अपनी विफलता को छिपाने के लिए दुकानों को ध्वस्त किया है। क्योंकि स्वच्छता बनाए रखने का काम नगर निगम का है, ट्रैफिक जाम और यदि अनैतिक कार्य कही हो रहा है, तो उसे रोकने व बंद करवाने का काम पुलिस प्रशासन का है। जब उनसे यह कार्य नहीं हुआ, तो दुकानदारों को टारगेट कर दुकानों को ध्वस्त कर दिया गया। वही इन्हीं बातों पर व्यापारिक संगठनों ने भी अपनी सहमति जताई है।