
भाग दौड़ भरी इस लाइफ में हम कई बार अपनी सेहत का ख्याल रखना भूल जाते है और जैसे जैसे समय बदल रहा है काफी हद तक हमारी लाइफस्टाइल में बदलाव हो रहे है जिसकी वजा से हार्ट अटैक जैसी बीमारिया युवाओ में भी देखने को मिल रही है इसके आलावा एसिडिटी, पेट ना साफ़ होने जैसी तमाम दिक्कतें हो रही है। शायद आप इस बात को नहीं जानते होंगे की आपकी स्लीपिंग पोज़िशन आपकी हेल्थ पर कितना असर डालती है।
सोने का सही तरीका !
आपने बड़े बूढ़ो को अक्सर बाई ओर करवट लेकर सोने को कहते हुए सुना होगा। आपको बता दें की आयुर्वेद के अनुसार और कई रिसर्च में पाया गया की अगर आप बाई ओर करवट करके सोते है तो आपके हार्ट से लेकर हाज़मे तक सब कुछ दुरुस्त रहता है। ज़ाहिर है आप पूरी रात एक ही करवट में नहीं सो सकते तो आप अपनी पीठ को एकदम सीधा करके भी सो सकते है।
बाई ओर करवट करके सोने से क्या होता है !
रात को बाईं ओर करवट करके सोने से लिवर बेहतर काम करता है. ये स्वास्थ्य रहता है. इसके साथ कब्ज, सीने में जलन, हीट बर्न, ब्लोटिंग की परेशानी से राहत मिलती है. इसके साथ बिना किसी पेंट की गड़बड़ी के हम आराम से काम कर सकते हैं।
बाईं ओर करवट लेने से रीढ़ हड्डी मजबूत हो जाती है. इसके साथ ही पूरे शरीर में ब्लड फ्लो सही रहता है. सबसे अहम है कि बाईं ओर करवट से हमारा दिमाग और सेहत दोनों सही रहते हैं।
बाईं ओर करवट लेकर सोने से खर्रांटों की समस्या काफी कम हो जाती है. बाईं करवट लेकर सोने से जुबान और गला न्यूट्रल पोजिशन में रहते हैं. इसकी वजह से सोते समय सांस लेने में कोई परेशानी नहीं होती।
गलत पोज़िशन में सोने से भारी नुक्सान !
दाईं ओर करवट लेकर सोने को डॉक्टर सही नहीं बताते हैं. डॉक्टरों का कहना है कि दाईं और करवट लेकर सोने से लीवर, अग्नाशय और आंतों की पॉजीशन डिस्टर्ब होती है. इससे लीवर पर नीचे की साइड झुकने का दबाव होता है. वह सही ढंग से काम नहीं कर पाता है. दाहिने करवट सोने से कंधे में दर्द और गर्दन से जुड़ी समस्याएं जन्म ले सकती हैं।
पेट के बल भी नहीं सोना चाहिए असल में जब हम उल्टा सोते हैं तो पेट पर दबाव पड़ता है जिसके कारण खाना अच्छे ढंग से पच नहीं पाता है, ऐसे में आपको अपच, कब्ज, पेट दर्द की शिकायत बनी रह सकती है। वहीं, पेट के बल सोने से रीढ़ की हड्डी पर भी बुरा असर पड़ता है. इससे बैक बोन अपना नैचुरल शेप धीरे-धीरे खोने लगती है।









