UP : बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ का नारा फेल,बांदा की प्रतिभावान बेटियाँ पढ़ाई छोड़ने को मजबूर.

बांदा में एक बेटी प्रतिभावान होने के बावजूद सरकारी तंत्र की उदासीनता का शिकार हो गई। खपटिहा गांव की रहने वाली रन्नो देवी ने इंटर तक की पढ़ाई की और तमाम मेडल जीते, लेकिन पैसों के अभाव में वो आगे की पढ़ाई पूरी नहीं कर पाई।

हाथों में ढेर सारे मेडल और सर्टिफिकेट इस बात की गवाही देते हैं कि यूपी की इस बेटी ने जरूर कुछ अच्छा किया है। लेकिन इस बच्ची का दुर्भाग्य देखिए वो अपनी आगे की पढ़ाई पूरी तक नहीं कर पाई. जहां एक ओर सरकार बेटियों को पढ़ाने के तमाम दावे करती है तो वहीं दूसरी ओर प्रदेश की ये होनहार बच्चियां अपनी प्रतिभा को आगे जारी रखने से वंचित रह जाती हैं।

बांदा की पैलानी तहसील के खपटिहा गांव के मजरे सिमरन डेरा की रहने वाली रन्नो देवी ने किसी तरह से अपनी इंटरमीडिएट की पढ़ाई पूरी की। इस दौरान उसने खेल जगत में भी अपना परचम लहराया लेकिन पैसों के अभाव में उसका प्रतिभाशाली सफर यहीं तक सिमट गया. उधर, इस अब इस मामले में जिला प्रशासन बच्ची की सहायता के लिए आगे आने को तैयार दिख रहा है।

रन्नों के पिता अपनी दोनों बेटियों को आगे पढ़ाना चाहते हैं लेकिन उनकी गरीबी और सरकारी तंत्र की उदासीनता मार्ग में रुकावट बनकर सामने आ रही है।

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