Report-Danish aziz
ग्रेटर नोएडा में दिल्ली-मुंबई इंड्रस्टीअल कॉरिडोर और फ्रंट कोरिडोर परियोजना से प्रभावित 5 गांव के महिला समेत सैकड़ों किसान 115 दिन से अपनी मांगों को लेकर धरना दे रहे हैं । जिनमें से 2 किसान अब अनिश्चितकालीन आमरण अनशन पर बैठ गए हैं। किसानों का आरोप है कि 2 दिन बीत जाने के बाद भी किसी भी जिला प्रशासन के अधिकारी ने प्रदर्शनकारियों की सुध नहीं ली है। किसानों का कहना है कि जब तक नई भूमि अधिग्रहण 2013 बाजार दर का 4 गुना मुआवजा और 20% प्लॉट नहीं देंगे तब तक धरना जारी रहेगा।
प्राधिकरण के खिलाफ नारेबाजी कर रही यह महिला और सैकड़ों किसान ग्रेटर नोएडा के पाली-पल्ला,बोड़ाकी,दतावली ओर चिथहैरा गांव के है। जो कि पल्ला गांव में पिछले 115 दिन से अपनी मांगों को लेकर धरना दे रहे है। इन सभी किसानों की जमीन दिल्ली मुंबई औद्योगिक कोरिडोर और डीएफसीसी के लिए अधिकृत की गई थी। किसानों का आरोप है कि 2014 में इनकी जमीन अधिकृत की गई लेकिन इनको मुआवजा पुराना भूमि अधिग्रहण बिल के तहत दिया जा रहा है जोकि बिल्कुल गलत है ।
इनका कहना है कि जब तक हमें नए भूमि अधिग्रहण 2013 के तहत सर्किल रेट का 4 गुना मुआवजा और 20% प्लॉट समेत स्थानीय लोगों को रोजगार ,भूमिहीनों को जमीन नहीं दी जाएगी तब तक यह अपनी मांगों को लेकर धरना करते रहेंगे। यह सभी किसान पिछले 115 दिन से लगातार अपनी मांगों को लेकर दंगा दे रहे हैं ।कई बार प्राधिकरण के अधिकारियों और किसानों के बीच वार्ता हुई लेकिन सभी वार्ता विफल रही।किसानों का आरोप है कि 2 दिन से 2 किसान आमरण अनशन पर हैं लेकिन किसी भी प्रशासनिक अधिकारी ने उनकी सुध नहीं ली है।