
दिल्ली: रूस और यूक्रेन के बीच चल रहे तनाव के कारण भारत ने ‘ऑपरेशन गंगा’चलाकर सभी भारतीय छात्रों को वापस लाने का अभियान शुरू कर दिया है। जिसके तहत भारतीय एयरफोर्स का तीसरा विमान C-17 पोलैंड से यूक्रेन में फंसे भारतीयों को लेकर हिंडन एयरपोर्ट पहुंचा।
रूस और यूक्रेन के बीच चल रहा युद्ध लगातार बढ़ता जा रहा है। रूस यूक्रेन के कई महत्वपूर्ण शहरों पर हमलावर है। वही, कीव पर कब्जे की जंग निर्णायक मोड़ पर आ गई है। रूस सेना का 64 किलोमीटर लंबा सैन्य काफिला कीव के बाहर कब्जा जमाए हुए हैं। वहीं दक्षिण-पूर्व से भी एक अन्य सैन्य काफिले की बढ़ने की खबर सामने आई है। यह सब तब हो रहा है, जब पुतिन की ओर से कीव छोड़ने या फिर मरने के लिए तैयार रहने की चेतावनी दी गई है। यूक्रेन में भारतीय दूतावास ने खारकीव में अपने छात्रों को तुरंत शहर से निकलने के लिए कहा है। इसी बीच विश्व बैंक ने रूस और बेलारूस में अपनी सभी परियोजनाओं पर रोक लगा दी है।
बता दें, विश्व बैंक ने रूस और उसके सहयोगी देश बेलारूस की मुश्किलें बढ़ा दी है। विश्व बैंक ने रूस, बेलारूस में अपनी सभी परियोजनाओं पर रोक लगा दी है।
बता दें, रूस और यूक्रेन के बीच चल रहे युद्ध में 24 फरवरी को रूस पर आक्रमण करने के बाद से यूक्रेन में 13 बच्चों सहित 136 लोग मारे गए हैं। संयुक्त राष्ट्र के उच्चायुक्त लिज़ थ्रोसेल के प्रवक्ता के अनुसार, 26 बच्चों सहित 400 अन्य नागरिक, घायल हो गए हैं।
थ्रोसेल ने मंगलवार को कहा, “ये केवल वे हताहत हैं जिन्हें हम क्रॉस-चेक करने में सक्षम थे, और वास्तविक आंकड़ा बहुत अधिक होने की संभावना है।” उन्होंने कहा कि अधिकांश हताहतों की संख्या व्यापक प्रभाव क्षेत्र वाले विस्फोटक हथियारों के उपयोग के कारण हुई,
जिसमें भारी तोपखाने से गोलाबारी और कई लॉन्च रॉकेट सिस्टम और हवाई हमले शामिल थे। हालांकि यूक्रेन के गृह मंत्रालय ने बताया कि रूसी आक्रमण के बाद से 352 नागरिक मारे गए और 1,684 घायल हुए।