थाईलैंड में गिरफ्तार हुआ नोएडा का कुख्यात ‘स्क्रैप माफिया’ रवि काना! लम्बे समय से पुलिस को थी तलाश…

गैंगस्टर के मुकदमे में 16 सदस्य नामजद थे। रवि काना की पत्नी मधु को पुलिस फरवरी 2024 में दिल्ली एयरपोर्ट से गिरफ्तार किया था।

पिछले कई दिनों से नोएडा पुलिस को जिस स्क्रैप माफिया रवि काना की तलाश थी, उसके थाईलैंड में गिरफ्तार होने की खबर सामने आई है। मंगलवार यानी 23 अप्रैल को गैंगस्टर रवि नागर उर्फ रवि काना और उसकी महिला सहयोगी काजल झा को थाईलैंड पुलिस के द्वारा गिरफ्तार होने की सूचना मिली है। हालांकि, थाईलैंड पुलिस के तरफ से इसकी कोई आधिकारिक पुष्टि या स्थानीय पुलिस को कोई जानकारी नहीं दी गई है। जिसके कारणवश नोएडा पुलिस ने भी इस मामले में अभी तक कोई आधिकारिक पुष्टि नहीं की है और न ही हमारा चैनल इसकी पुष्टि करता है।

जनवरी में पुलिस ने जारी किया था रेड कॉर्नर नोटिस

जनवरी 2024 में ही गौतमबुद्धनगर कमिश्नरेट पुलिस ने इस गैंगस्टर के खिलाफ लुक आउट और रेड कॉर्नर नोटिस जारी किया था। जिसकी जानकारी का विवरण पुलिस के तरफ से थाईलैंड के साथ भी साझा किया गया था। इसी विवरण के आधार पर इस गिरफ्तारी के होने की ख़बरें आ रही है। बता दें, रवि काना गिरोह के 14 सदस्यों को पहले ही पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। इन गिरफ्तारियों में गैंगस्टर रवि की पत्नी मधु नागर का नाम भी शामिल है। इतना ही नहीं पुलिस ने कार्रवाई करते हुए रवि काना से जुड़े 100 करोड़ से अधिक की संपत्ति को भी सीज किया है। साथ ही चार बैंक खातों को भी फ्रीज करते हुए रवि काना के खिलाफ नोएडा के सेक्टर-39 में सामूहिक दुष्कर्म और बीटा-2 थाने में गैंगस्टर का मुकदमा दर्ज किया था।

पिछले महीने पुलिस ने रवि काना गैंग के खिलाफ दाखिल की चार्जशीट

गैंगस्टर के मुकदमे में 16 सदस्य नामजद थे। रवि काना की पत्नी मधु को पुलिस फरवरी 2024 में दिल्ली एयरपोर्ट से गिरफ्तार किया था। पिछले महीने पुलिस ने रवि काना गैंग के खिलाफ जिला अदालत में 500 पन्नों की चार्जशीट दाखिल की थी। इसमें रवि काना को काले कारोबार का सरगना बताया गया और उसकी सहयोगी काजल झा को इसमें बराबर का हिस्सेदार बताया गया था।

कौन है स्क्रैप माफिया रवि नागर…?

रवि नागर उर्फ रवि काना शुरुआती दौर में एक बेरोजगार युवक की तरह छोटे-मोटे काम करता था, मगर जैसे ही उसने जुर्म के दुनिया में कदम रखा वो दिन दोगुनी और रात चौगुनी तरक्की करने लगा। सरिया के चोरी के अवैध कारोबार में तो उसने अपना एक अलग ही नाम बना लिया था। रवि को इस अवैध कारोबार में पुलिस समेत सभी अधिकारियों की जमकर शरण मिली और इसी के चलते वो स्क्रैप का माफिया बन गया।

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