नहाय खाय के साथ शुरु हुआ छठ महापर्व, घाटों में उमड़ेगा आस्था का सैलाब

छठ पर्व की वजह से घाटों पर साफ-सफाई का काम पूरा हो चुका है. राजधानी लखनऊ में घाटों पर साफ-सफाई के साथ सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए है.

डिजिटल डेस्क- आस्था का महापर्व यानी की छठ पर्व की शुरुआत आज से हो गई है.नहाय खाय के साथ छठ पर्व का आरंभ हो गया है. इस पर्व में व्रती महिलाएं भगवान सूर्य को अर्ग देती है. 4 दिन तक चलने वाला ये पर्व पर देश के साथ-साथ विदेशों में भी रहने वाले भारतीय मनाते है.

छठ पर्व की वजह से घाटों पर साफ-सफाई का काम पूरा हो चुका है. राजधानी लखनऊ में घाटों पर साफ-सफाई के साथ सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए है. ये पर्व भगवान सूर्य की अराधना के साथ-साथ सुख समृद्धी का पर्व है.

4 दिन क्या होती है पूजा…

सबसे पहले दिन के पूजा की शुरुआत नहाय खाए के साथ होती है. व्रत रखने वाली महिलाएं स्नान के बाद लौकी,भात और चने की दाल खाती है.

दूसरे दिन खरना होता है,जिसमें महिलाएं पूजा करने के बाद चावल की खीर खाती है, उसके बाद चाय पीती है.फिर इसके अगले दिन शाम को सूर्य देवता को अर्ग दिया जाता है.महापकवान का भोग सूप में करके भगवान को लगाया जाता है.उसके अगले दिन भोर में सूर्य को अर्ग देने के साथ इस पूजा का समापन हो जाता है.

इसी कड़ी में आज देवरिया जिले के कुछ लोकल कलाकारों ने छठ माता पर एक गीत गाया है. और इसका कैसेट भी बनाया है. जिसका लोकार्पण नगर पालिका अध्यक्ष अलका सिंह ने किया. इस गाने की शूटिंग देवरिया जिले के कई गांव में हुई है और इस गीत को राजा मणि ने लिखा है और इसे सुमित और माया ने गया है. लोकार्पण के मौके पर इस गीत को लोकल कलाकारों ने मीडिया के सामने भी गाया.वहीं नगर पालिका अध्यक्ष अलका सिंह ने बताया कि देश के प्रधानमंत्री का नारा है लोकल फॉर वोकल को देवरिया के कलाकार आगे बढ़ा रहे हैं.

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